शशि कपूर, हिंदी सिनेमा के एक प्रतिष्ठित परिवार का सदस्य, एक विदेशी अभिनेत्री के प्रति अपने गहरे प्रेम के लिए जाने जाते थे। उनकी प्रेम कहानी आज भी फिल्म इंडस्ट्री में एक उदाहरण के रूप में देखी जाती है। जबकि आजकल कई अभिनेता एक से अधिक विवाह करते हैं, शशि कपूर ने अपनी पत्नी की मृत्यु के बाद अपनी पूरी जिंदगी अकेले बिताई। उनकी असली प्रेम कहानी किसी फिल्म की स्क्रिप्ट से कम नहीं है।
शशि कपूर और जेनिफर की प्रेम कहानी कपूर खानदान के लाडले की कहानी
शशि कपूर ने अपनी पत्नी जेनिफर के निधन के बाद 33 साल अकेले बिताए। वह जेनिफर से बेहद प्यार करते थे। उनकी पहली मुलाकात 1956 में कोलकाता के ओपेरा हाउस में हुई थी, जहां शशि एक नाटक में भाग ले रहे थे और जेनिफर, जो उस थिएटर के मालिक की बेटी थीं, नियमित रूप से नाटक देखने आती थीं।
शादी और जेनिफर का कैंसर शशि कपूर ने की थी विदेशी लड़की से शादी

कहा जाता है कि शशि कपूर को जेनिफर से पहली नजर में प्यार हो गया था, लेकिन उनकी शर्मीली स्वभाव के कारण वह उनसे बात नहीं कर पा रहे थे। एक दिन जेनिफर ने खुद शशि से संपर्क किया और बताया कि वह मुंबई में रहती हैं। इसके बाद उनकी बातचीत शुरू हुई और दोनों एक-दूसरे के प्यार में पड़ गए।
शशि कपूर का अकेलापन पत्नी के निधन के बाद टूट गए थे शशि
1958 में शशि कपूर और जेनिफर की शादी हुई। जेनिफर ने शशि का बहुत ख्याल रखा, लेकिन कैंसर के कारण उनकी जिंदगी में अंधेरा छा गया। जेनिफर ने 7 सितंबर 1984 को कैंसर से जंग हारकर दुनिया को अलविदा कह दिया।
शशि कपूर का अंतिम सफर 33 साल अकेले गुजारने के बाद 2017 में हुआ निधन
पत्नी की मृत्यु के बाद, शशि कपूर ने अपने तीन बच्चों की परवरिश अकेले की। जेनिफर की यादों के साथ उन्होंने 33 साल अकेले बिताए। अंततः, 4 दिसंबर 2017 को उन्होंने इस दुनिया को अलविदा कह दिया।
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