नई दिल्ली: साउथ-वेस्ट डिस्ट्रिक्ट के वसंत कुंज साउथ इलाके में 20 जून से लापता युवक का शव शुक्रवार सुबह इंदर कैंप स्थित जंगल में मिला। वसंत कुंज साउथ थाना पुलिस ने प्राथमिक जांच के बाद मृतक की पहचान कर घरवालों को घटना की सूचना दे दी है। पुलिस का कहना है कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के सही कारणों का पता चलेगा। सूत्रों की मानें तो शुरुआती जांच में मामला हत्या का लग रहा है।
पीसीआर कॉल के माध्यम से मिली सूचना
डीसीपी अमित गोयल ने बताया कि मृतक की पहचान अनिल कुमार (32) के रूप में हुई। वह परिवार के साथ इंदर कैंप रंगपुरी पहाड़ी इलाके में रहते थे। अनिल कुमार एम्स में इलेक्ट्रिशन के रूप में कार्यरत थे। परिवार में मां, दो भाई-भाभी, पत्नी व उनकी 6 साल की एक बेटी है। डीसीपी के अनुसार, पुलिस को सुबह 8:19 पर पीसीआर कॉल के जरिए सूचना मिली कि इंदर कैंप स्थित पीर बाबा के पास पानी में शव पड़ा हुआ है। परिवार ने गुमशुदगी की रिपोर्ट 21 जून को थाने में दर्ज कराई थी।
गुमशुदगी की रिपोर्ट 21 जून को दर्ज कराई गई।
पुलिस पर लगा लापरवाही का आरोप
आरोप लगाते हुए कहा कि अगर पुलिस तुरंत ऐक्शन लेती तो शायद अनिल आज जिंदा होते। वही पड़ोस में रहने वाली मंजू देवी ने बताया कि अनिल का किसी से कोई झगड़ा नहीं था। मंजू के अनुसार 20 जून की दोपहर अनिल को फोन करके एक युवक ने इंदर कैंप के पास बुलाया था। मंजू के अनुसार जिस व्यक्ति ने अनिल को बुलाया था उसने रात में कुछ ज्वलनशील पदार्थ पी लिया। रात को जब अनिल घर नहीं आए तो परिजनों ने उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट थाने में दी, लेकिन पुलिस ने मामले को गंभीरता से नही लिया। अगर पुलिस मामले में तुरंत एक्शन लेती तो शायद अनिल आज जिंदा होते। वही पुलिस अधिकारी का कहना है कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के आधार पर आगे ऐक्शन लिया जाएगा।
आरोप, पुलिस तुरंत एक्शन लेती तो शायद अनिल आज जिंदा होते
पीसीआर कॉल के माध्यम से मिली सूचना
डीसीपी अमित गोयल ने बताया कि मृतक की पहचान अनिल कुमार (32) के रूप में हुई। वह परिवार के साथ इंदर कैंप रंगपुरी पहाड़ी इलाके में रहते थे। अनिल कुमार एम्स में इलेक्ट्रिशन के रूप में कार्यरत थे। परिवार में मां, दो भाई-भाभी, पत्नी व उनकी 6 साल की एक बेटी है। डीसीपी के अनुसार, पुलिस को सुबह 8:19 पर पीसीआर कॉल के जरिए सूचना मिली कि इंदर कैंप स्थित पीर बाबा के पास पानी में शव पड़ा हुआ है। परिवार ने गुमशुदगी की रिपोर्ट 21 जून को थाने में दर्ज कराई थी।
गुमशुदगी की रिपोर्ट 21 जून को दर्ज कराई गई।
पुलिस पर लगा लापरवाही का आरोप
आरोप लगाते हुए कहा कि अगर पुलिस तुरंत ऐक्शन लेती तो शायद अनिल आज जिंदा होते। वही पड़ोस में रहने वाली मंजू देवी ने बताया कि अनिल का किसी से कोई झगड़ा नहीं था। मंजू के अनुसार 20 जून की दोपहर अनिल को फोन करके एक युवक ने इंदर कैंप के पास बुलाया था। मंजू के अनुसार जिस व्यक्ति ने अनिल को बुलाया था उसने रात में कुछ ज्वलनशील पदार्थ पी लिया। रात को जब अनिल घर नहीं आए तो परिजनों ने उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट थाने में दी, लेकिन पुलिस ने मामले को गंभीरता से नही लिया। अगर पुलिस मामले में तुरंत एक्शन लेती तो शायद अनिल आज जिंदा होते। वही पुलिस अधिकारी का कहना है कि पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के आधार पर आगे ऐक्शन लिया जाएगा।
आरोप, पुलिस तुरंत एक्शन लेती तो शायद अनिल आज जिंदा होते
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